पूज्यवर पिताजी,
सादर प्रणाम।
आपका पत्र मिला। सामाचार मालुम हुआ। मेरी पढ़ाई-लिखाई अच्छी तरह चल रही है। आपने पत्र में लिखा हे कि यदि मुझे किसी चीज की आवश्यता हो तो मै आपको लिखुँ। अभी मुझे एक चीज की कमी है जिसके कारण मुझे बड़ी कठिनाई हो रही है । वह है साईकिल। मेरे निवास से मेरे विद्यालय की दुरी चार किलोमीटर है। मुझे पैदल स्कूला जाना पड़ता है । स्कूल जाने तथा स्कूल से लौटने में मेरा काफी समय नष्ट हो जाता हे। मै थक भी जाता हूँ। संध्या समय मुझे शिक्षक के पास जाना पड़ता है। वे दूसरे मुहल्ले में रहते है, जो यहाँ से दूर है। यदि आप मुझे एक साईकिल खरीद दे ंतो मेरी कठिनाई दूर हो सकती हे। आशा है कि आप मुझे एक साईकिल अवश्य खरीद देंगे।
माताजी को प्रणाम तथा चुन्नू और बब्लू को मरा स्नेहाशीष कह देगे।
पताः- ............................... आपका प्यारा पुत्र
.................................. नाम:-....................
जिला:-.............................
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